15 अगस्त 2007

आज़ादी की ६० वीं वर्षगाँठ पर आप सबको हार्दिक शुभकामनायें

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वतन से दूर हूँ लेकिन
अभी धड़कन वहीं बसती
वो जो तस्वीर है मन में
निगाहों से नहीं हटती

बसी है अब भी साँसों में
वो सौंधी गंध धरती की
मैं जन्मूँ सिर्फ भारत में
दुआ रब से यही करती

बड़े ही वीर थे वो जन
जिन्होंने झूल फाँसी पर
दिला दी हमको आजादी
नमन शत-शत उन्हें करती



5 टिप्‍पणियां:

Udan Tashtari ने कहा…

आपको भी इस सुन्दर रचना और स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनायें.

sanjay patel ने कहा…

भावना बहन..वंदेमातरम.
जश्ने आज़ादी की सालगिरह पर दिली मुबारकबाद कु़बूलें.वतन से दूर रह कर भी आपने देश को याद किया ...सच्ची भारतीय हैं आप.हमारे भारत का सूरते हाल तो बस वैसा ही है जैसा था..भाई बोधिसत्वजी ने आज अपने ब्लाँग पर सुन्दर कविता जारी की है ज़रूर पढि़येगा आप ...जान जाएंगी कि यहाँ देश के क्या हाल हैं.फ़िर भी जैसा भी है प्यारा है देश हमारा.

Divine India ने कहा…

सुंदर कविता के साथ अपनी भावना को भी प्रेषित कर दिया…
स्वतंत्रता दिवस की शुभकामना…।

Prabhakar Pandey ने कहा…

सुंदर रचना । जय भारत ।

Sagar Chand Nahar ने कहा…

आपको भी हार्दिक बधाई