दिल के दरमियाँ - डॉ० भावना कुँअर
11 अक्तूबर 2021
दोहे/नारी
मन से चाहे हों भले, नारी कोमल फूल।
सहनशीलता में मगर, पर्वत के अनुकूल।।
© डॉ० भावना कुँअर
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डॉ०भावना कुँअर
संपादिका-ऑस्ट्रेलियांचल ई-पत्रिका
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