दिल के दरमियाँ - डॉ० भावना कुँअर
12 अक्तूबर 2021
नारी/दोहे
नारी सागर प्रेम का, होता हृदय विशाल ।
हर मुश्किल के सामने, बन जाती है ढाल।।
© डॉ० भावना कुँअर
Editor
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डॉ०भावना कुँअर
संपादिका-ऑस्ट्रेलियांचल ई-पत्रिका
1 टिप्पणी:
जिज्ञासा सिंह
ने कहा…
स्त्री जीवन के संदर्भ को परिभाषित करता सुंदर दोहा ।
13 अक्तूबर 2021 को 4:20 am बजे
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1 टिप्पणी:
स्त्री जीवन के संदर्भ को परिभाषित करता सुंदर दोहा ।
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